शेयर का बड़े पैमाने पर ट्रेडिंग शेयर बाजार में  किया जाता है शेयर बाजार एक येसा प्लातेफ़ोर्म है जहा शेयर की खरीदी ओर बिक्री का भाव निशिचित करके व्यव्य्हार किया जाता है पहले शेयर बाजार एक स्थान हुआ करता था शेयर बाजार के ट्रेडिंग फ्लोरे पर लेंन  देंन  किया जाता था

आपने कभी चित्रों में ट्रेडिंग फ्लोर देखा होगा इस ट्रेडिंग पर लोगों को हाथ ऊँचे करके जोर जोर से चिल्ला कर साथ ही एक दुसरे को देख करके व्यवहार करते हुए देखा होगा

शेयर बाजार में व्यवहार करने का यह एक पुराना तरीका था यह प्रथा अब अस्तित्व में नही रही फिलहाल वर्तुअल ट्रेडिंग फ्लोर में कंप्यूटर के नेटवर्क का समावेश होता है

इस नेटवर्क के जरिये दुनिया भर के देशो में ट्रेडिंग के लिए इसी सिस्टम का उपयोग किया जाता है

शेयर बाजार का मूल भुत हेतु खरीद दार और विक्रेता के सुरक्षा व्यवहार पूर्ण होने के लिए जरुरी सुविधा उपलब्ध करना और जोखिम को कम करना है शेयर बजार में प्राइमरी और Secondary   ऐसे दो बाजार होते हैं प्राइमरी मार्किट में नए सुरक्षा इशू की जाती है और फिर उनका एक अस्तित्व निर्माण होने के बाद उन सुरक्षा का व्यवहार secondary  मार्किट में होता है शेयर बाजार के माध्यम से यह व्यवहार  पूरा होता है .

भारतीय स्टॉक एक्सचेंज ( Stock Exchange in India )

भारत में कुल २४ स्टॉक एक्सचेंज हैं इन सभी को भारत सरकार ने मान्यता दी है उनमे से सबसे  बड़े और महत्त्व के बाजार में नेशनल stock exchange और बोम्बे stock exchange का समावेश होता है भारत के शेयर बाजार में हर दिन होने वाले ट्रेडिंग में बड़े पैमाने की ट्रेडिंग N.S.E. ओर B.S.E. के जरिये ही होती है

1. नेशनल स्टॉक एक्सचेंज – N. S. E. (National Stock Exchange)

1994 में नेशनल स्टॉक एक्सचेंज सुरु करने के पीछे का मूल

1. रास्टीय अस्तर पर डेब्ट ओर इन जेसे अन्य इन्स्तुमेंट का व्यवहार कर पाना

2. देश भर के निवेशको को साथ में व्यवहार करने का मौका प्राप्त करना

3. व्यवहार के सेत्तेल्मेंट साईकिल अर्थात कालावधि कम करने के लिए

4. सुरक्षा के मार्किट के उद्देश को अंतर रास्ट्रीय स्तर पर लाने के लिए यह एक्सचेंज बिना ट्रेडिंग रिंग वाले रास्ट्रीय स्तरके कंप्यूटर शेयर बाजार के स्वरुप में रहे इसलिए यह exchange दो हिस्सों में अलग किया जाता है एक कैपिटल मार्किट और दूसरा होलेसेल डेब्ट मार्किट

कैपिटल मार्किट के हिस्से में इक्विटी शेयर कनवर्टिबल दिवेंचेर्स और नॉन कनवर्टिबल दिवेंचेर्स का समावेश होता है होलेसेल डेब्ट मार्किट में सरकारी डेब्ट जाहिर छेत्र की कंपनी के बांड कोमेर्सिअल पेपर और डेब्ट के अन्य इन्स्तुमेंट के उच्छ कीमत के व्यवहारों का काम काज होता है कैपिटल मार्किट से सम्बंधित ट्रेडिंग मेम्बर मुंबई में स्थापित किये गये मध्यस्थ कंप्यूटर के द्वारा जुड़े होते हैं इसके लिए वैरी स्माल अपर्चर टर्मिनल यका उपयोग किया जाता है नेशनल stock exchange आर्डर पर आधारित सिस्टम का उपयोग करता है उनके सिस्टम में ट्रेडिंग मेम्बर द्वारा आर्डर दिया जाता है तब अपने आप आर्डर कन्फर्मेशन स्लिप अर्थात आर्डर दिया है यह निर्देशित करने वाली रसीद तैयार की जाती है

N. S. E. में स्क्रिप्ट को उसके प्रतीक चिन्ह से पहचाना जाता है . N. S. E. का इंडेक्स निफ्टी है .

2. बोम्बे स्टॉक एक्सचेंज - B.S.E. ( Bombey Stock Exchange )

बोम्बे स्टॉक एक्सचेंज एशिया का सबसे पुराना शेयर बाजार है यह बी.एस .ई के नाम से प्रसिद है 1875 में द नेटिव शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर असोसिएशन के नाम से इसकी अस्थापना हुई थी भारत सरकार से मान्यता हासिल करने वाला यह देस का पहला एक्सचेंज है भारत सरकार ने इसे 1956 में सुरक्षा कांट्रेक्ट रेगुलेसन एक्ट 1956 के अंतर्गत अस्थाई सुरूप की मान्यता दी थी


यह एक्सचेंज भारतीय कैपिटल मार्किट को विकसित करने में मुख्या ओर महत्त्व की भूमिका निभाता है बी .एस.ई का इंडेक्स सेन्सेक्स है ओर इस इंडेक्स पर दुनियाभर की नजर होती है  

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 Conclusion :- भारतीय स्टॉक एक्सचेंज क्या है ?

इस लेख में हमने आपको Stock Exchange Kya Hai In Hindi और Stock Exchange के कार्यों के बारे में जानकारी दी है। साथ ही इस लेख में हमने आपको Stock Exchange कैसे काम करता है, भारत में Stock Exchange के प्रकार और Stock Exchange के इतिहास की जानकारी दी है। हमें पूरी उम्मीद है कि आपको हमारा लिखा हुआ यह लेख पसंद आया होगा।